नई दिल्ली । मुख्य सचिव प्रकरण का असर दिल्ली सरकार के बजट सत्र पर भी पड़ सकता है। दिल्ली के मुख्य सचिव अंशु प्रकाश के साथ आम आदमी पार्टी के विधायकों की मारपीट का मामला अभी शांत नहीं हुआ है। ऐसे में 16 मार्च को शुरू हो रहे दिल्ली विधानसभा के बजट सत्र की सफलता को संदेह से देखा जा रहा है।
आशंका व्यक्त की जा रही है कि दिल्ली में सरकार और अधिकारियों के बीच चल रहे टकराव का असर 16 मार्च से शुरू होने जा रहे बजट सत्र पर असर पड़ सकता है। 28 मार्च तक चलने वाले इस सत्र के लिए सरकार और अधिकारियों के स्तर पर लंबी तैयारी की जरूरत है।
मगर सरकार और अधिकारियों में तालमेल न होने से विभागीय स्तर की बहुत सी बैठकें नहीं हो पा रही हैं। सरकार अपने प्रस्ताव भी अपनी मर्जी से तैयार नहीं करा पा रही है। जिसके चलते पिछले दिनों सरकार की कई बैठकें स्थगित हो चुकी हैं। अधिकारी सरकार की सिर्फ उन्हीं बैठकों में शामिल हो रहे जो कैबिनेट की बैठकें हैं या फिर बजट से संबंधित हैं।
हालांकि सरकार के खिलाफ आंदोलन कर रही ज्वाइंट फोरम ने साफ किया है कि बजट सत्र पर असर नहीं पडऩे दिया जाएगा। बजट को लेकर होने वाली सभी बैठकों में अधिकारी शामिल हो रहे हैं और बजट से संबंधित सभी कार्य प्रमुखता के साथ किए जा रहे हैं।
मगर अधिकारी दिल्ली सरकार की नियमित बैठकों में शामिल नहीं हो रहे हैं। यहां तैनात अफसरों और कर्मियों की मांग है कि पहले मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया जनता के सामने लिखित में मुख्य सचिव से माफी मांगे, तब वह नियमित बैठकों में शामिल होंगे।
बता दें कि अधिकारी और कर्मचारी दोपहर के समय होने वाले डेढ़ बजे से एक बजकर 35 मिनट तक होने वाले मौन में शामिल हो रहे हैं और सरकार की सद्बुद्धि के लिए भगवान से प्रार्थना कर रहे हैं।
अपनी मांगों को लेकर दिल्ली सरकार में कार्यरत अधिकारी व कर्मचारी ज्वाइंट फोरम के बैनर तले 19 फरवरी को मुख्य सचिव के साथ मुख्यमंत्री निवास पर हुई मारपीट का विरोध कर रहे हैं। शुक्रवार को भी विभिन्न सरकारी दफ्तरों में सरकार के विरोध के लिए लंच के समय मौन रखा गया।
विधायकों से हुई पूछताछ
दिल्ली सरकार के मुख्य सचिव अंशु प्रकाश के साथ मारपीट व बदसुलूकी मामले में आम आदमी पार्टी (AAP) के विधायकों से पूछताछ का सिलसिला जारी है। एक और पूर्व विधायक नितिन त्यागी से सिविल लाइंस थाने में पौने दो घंटे तक पूछताछ की गई। नितिन त्यागी लक्ष्मी नगर से विधायक थे। 19 फरवरी की रात मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के आवास पर मुख्य सचिव के साथ हुई मारपीट की घटना के दौरान नितिन त्यागी भी वहां मौजूद थे।
उन्होंने स्वीकार किया कि घटना वाली रात उनके सामने मुख्य सचिव से कुछ विधायकों की गहमागहमी हुई थी, लेकिन किसी ने अंशु प्रकाश की पिटाई नहीं की थी। वह बैठक में शुरू से अंत तक मौजूद थे। पुलिस अधिकारी का कहना है कि नितिन त्यागी को पहले से समझा दिया गया है कि उन्हें क्या बोलना है।